Hottest Place in The World-अमेरिका की Death Valley भी अपने नाम पर खरी उतरती दिख रही है। कैलिफोर्निया की इस रेगिस्तानी घाटी में तापमान अपने सभी रेकॉर्ड तोड़ता दिख रहा है। शुक्रवार को यहां पारा 130 डिग्री फॉरेनहाइट यानी 54.4 डिग्री सेल्सियस के पार पहुंच गया।
Death Valley में 54 डिग्री के पार पहुंचा पारा
Death Valley अब तक के सबसे ज्यादा तापमान के रेकॉर्ड से भी सिर्फ 4 डिग्री पीछे है। इससे पहले 9 जून 1913 में यहां तापमान 134 डिग्री फॉरेनहाइट था। यह धरती में कहीं भी रहा अब तक का सबसे ज्यादा तापमान है। चिंता की बात यह है कि पश्चिमी तट पर heatwave का खतरा अभी टला नहीं है और आने वाले दिनों में इस रिकॉर्ड के टूटने की आशंका गहरा रही है।

Hottest Place in The World-क्यों इतना तपती है Death Valley?
Death Valley इसके नाम से ही अंदाज़ा लगाया जा सकता है कि ये जगह कैसी होगी। यह समुद्रतल से 300 मीटर नीचे एक गहरी और पतली घाटी है। जहां पेड़-पौधों का कोई नामोंनिशान नहीं है। यहां इंसान नहीं रहते, लेकिन एडवेंचर के शौकीन लोग क्लाइंबिंग और ट्रैकिंग करने के लिए आते रहते हैं। यह वैली इसलिए ज्यादा गर्म रहती है, क्योंकि इसकी सतह लाल रंग के चट्टान और थोड़ी-बहुत मिट्टी से बनी है।

यह सतह गर्मी को वापस तो भेज देती है, लेकिन वह वैली से बाहर नहीं निकल पाती। इसका प्रभाव यह होता है कि घाटी की हवा बेहद गर्म हो जाती है। यहां की गर्म हवा खड़ी पर्वत श्रृंखलाओं से घिरी हुई है, जो घाटी की गहराई में गर्मी को रोक लेती है।

समुद्र तटों पर मरे हुए जीवों के लगे ढेर
कनाडा में हीट डोम बनने के कारण वातावरण की गर्मी लौटकर धरती पर वापस आ रही है। ब्रिटिश कोलंबिया में तो समुद्र तटों पर रहने वाले मसल्स, क्लैम और अन्य समुद्री जीव तो गर्म पानी में जिंदा ही उबल गए। समुद्र तटों के किनारे इन जीवों की बड़े बड़े ढेर सड़ते हुए दिखाई दे रहे हैं। जिसकी बदबू से आसपास रहने वाले लोग भी बेहाल हैं।यह भी पढ़ें:New Strain Of Coronavirus- 31 दिसंबर तक ब्रिटेन से भारत आने-जाने वाली उड़ानों पर रोक

Hottest Place in The World
ब्रिटिश कोलंबिया विश्वविद्यालय में जूलॉजी विभाग के प्रोफेसर क्रिस्टोफर हार्ले के मुताबिक कनाडा में अभी जो विनाशकारी गर्मी पड़ रही है, उससे करोड़ों मसल्स मारे गये हैं और वो समुद्र के तट पर पहुंच गये हैं और अब सड़ रहे हैं। जिससे वातावरण पर काफी बुरा असर भी हो रहा है।

क्रिस्टोफर हार्ले ने आशंका जताई है कि इस विनाशकारी गर्मी की वजह से एक अरब से ज्यादा समुद्री जीव मर सकते हैं।
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वैज्ञानिकों ने बताया बड़ा ख़तरा, चेतावनी जारी
नॉर्थईस्टर्न यूनिवर्सिटी में मरीन बायोलॉजी के प्रोफेसर ब्रायन हेल्मुथ ने कहा कि कोरल रीफ्स की तरह मसल्स बेड का यू मरना बहुत बड़ी चेतावनी है। उन्होंने कहा कि ”जब हम मसल्स बेड को गायब होते देखते हैं, तो हमें चिंता होती है। क्योंकि वो समुद्र में जंगल के पेड़ों की तरह होते हैं, जिनपर सैकड़ों प्रजातियां निर्भर करती हैं और वो समुद्र में रहने वाले सैकड़ों तरह की दूसरी प्रजातियों को आवास प्रदान करते हैं, ऐसे में अगर मसल्स गायब हो जाएंगे, तो सैकड़ों दूसरी प्रजातियों का अस्तित्व संकट में आ जाएगा।