GST may increase on readymade and textile-नये साल के आने से पहले ही महंगाई के और बढ़ने की सुगबुगाहट है। कई नये बदलावों के साथ सरकार रेडीमेड कपड़ों और टेक्सटाइल इंडस्ट्री पर जीएसटी बढ़ाने के बारे में विचार कर रही है। हालांकि अभी तक विरोध के चलते इसे अमलीजामा नहीं पहनाया गया था । माना जा रहा है कि नये साल पर यह बदलाव हो सकता है और इसके बाद कपड़े और जूते समेत कई चीजें महंगी हो जाएंगी।
CBIT ने दी जानकारी
सेंट्रल बोर्ड ऑफ इन डायरेक्ट टैक्स (CBIT) ने अधिसूचना जारी कर इस बारे में जानकारी दी है. काफी समय से यह संभावना जताई जा रही थी कि सरकार रेडीमेड और टेक्सटाइल पर जीएसटी बढ़ा सकता है.
सभी तरह के कपड़ों पर लगेगा 12 फीसदी GST
आपको बता दें अब किसी भी कीमत के फैब्रिक पर 12 फीसदी की दर से ही जीएसटी लगेगा. पहले एक हजार रुपये तक की कीमत के कपड़े पर 5 फीसदी की दर से जीएसटी लगता था, लेकिन अब सभी पर 12 फीसदी की दर से ही जीएसटी लगाया जाएगा. इसके अलावा धागों पर भी 12 फीसदी की दर से ही जीएसटी लगेगा.
GST may increase on readymade and textile-फुटवियर भी हो जाएंगी महंगी
इसके अलावा बुने धागे, सिंथेटिक धागे, थान, कंबल, टेंट, टेबल क्लॉथ, रग्स, तौलिया, नैपकिन, रूमाल, कालीन, गलीचा, लोई सभी पर 12 फीसदी की दर ही लागू होगी. वहीं, फुटवेयर पर जीएसटी के रेट्स को बढ़ाया गया है.
CMAI ने किया विरोध
क्लॉथिंग मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (CMAI) सरकार के इस कदम का विरोध कर रहा है. संगठन का कहना है कि देश में महामारी का असर अभी तक गया नहीं है. व्यापार में अभी भी उस तरह की तेजी देखने को नहीं मिल रही है जैसे पहले देखी जाती थी. वहीं, सरकार की ओर से जीएसटी की दरें बढ़ा दी गई हैं.
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GST may increase on readymade and textile-आम जनता पर पड़ेगा असर
सरकार के इस फैसले से आम जनता को पहले की तुलना में ज्यादा खर्च करना होगा. उद्योग जगत में महंगाई की मार अभी भी देखने को मिल रही है. कच्चे माल की कीमतों के साथ, विशेष रूप से यार्न, पैकिंग सामग्री, और माल ढुलाई में लगातार तेजी देखी जा रही है, जिसकी वजह से आने वाले समय में कपड़े की कीमतों में करीब 15 से 20 फीसदी तक इजाफा हो सकता है.