Delta Plus Variant ने बढ़ाई टेंशन, IIT एक्सपर्ट बोले-सितंबर तक तैयार रहें तीसरी लहर के लिये

vaccination delta plus variant
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Delta Plus Variant को डब्ल्यूएचओ पहले ही घातक करार दे चुका है। उस पर देश के कई राज्यों में इसकी पुष्टि होने के बाद इस पर बहस छिड़ गई है। WHO की तरफ से AY.1 वैरिएंट या B.1.617.2.1 को वैरिएंट ऑफ कंसर्न की लिस्‍ट में शामिल किया है। हालांकि भारत में इसे लेकर एकराय नहीं है। हाल ही में इसको लेकर नीति आयोग के सदस्‍य डॉक्‍टर वीके पॉल ने कहा था कि सरकार देश में इसकी इसकी संभावित मौजूदगी पर लगातार निगाह बनाए हुए हैं। सबसे पहले बात पंजाब की…

पंजाब में रिपोर्ट हुए हैंं 1022 Delta Plus Variant

पंजाब में कोरोना के मामले अभी भी काफी मिल रहे हैं। प्रदेश की बात करें तो यहां जनवरी से मई 2021 के बीच करीब 2213 सैंपल्‍स एनसीडीसी और सीएसआईआर को जांच के लिए भेजे गए थे। इसमें से 1164 सैंपल में जांच के दौरान करीब 1022 में डेल्‍टा वैरिएंट (AY.1 वैरिएंट या B.1.617.2.1) रिपोर्ट किया गया था।

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इन राज्यों में आ चुके हैं केसेज़

डेल्‍टा वैरिएंट अब डेल्‍टा प्‍लस के रूप में सामने आ रहा है। National Center of Disease Control के मुताबिक इस वैरिएंट के मामले तमिलनाडु, पंजाब, महाराष्‍ट्र और मध्‍यप्रदेश में सामने आ चुके हैं। एनसीडीसी के मुताबिक INSACOG (Indian SARS-CoV-2 Genomic Consortia) इसके बारे में जानकारी हासिल करने में लगा हुआ है। एनसीडीसी का ये भी कहना है कि यूरोप में ये वैरिएंट मार्च में ही सामने आ चुका था लेकिन लोगों के बीच इसकी उपस्थिति जून में देखने को मिली है।

Delta Plus Variant के महाराष्ट्र में 21 केस

महाराष्‍ट्र में 21 जून 2021 तक डेल्टा प्‍लस वैरिएंट के करीब 21 मामले सामने आ चुके थे। इनमें से 9 मामले जलगांव, 7 मामले मुंबई और एक-एक मामला सिंधुदुर्ग, ठाणे और पालघर में सामने आया था। इसको देखते हुए सरकार ने हर जिले से करीब 100 सैंपल लिए हैं जिसको आगे जांच के लिए सीएसआईआर भेजा जाएगा। इनकी जिनोम सिक्‍वेंसिंग (genome sequencing) के लिए इन सैंपल को institute of genomic integrative biology भी भेजा जाएगा। मई के बाद से सरकार इस तरह से अबतक 7500 सैपल्‍स ले चुकी है जिनमें से 21 में ही ये वैरिएंट मिला है। इसका राज्‍य में पहला मामला रत्‍नागिरी में मई में सामने आया था। यहां से लिए गए 50 सैंपल की जांच में तीन में ये वैरिएंट मिला था।

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केरल में मिल चुका है डेल्टा प्लस

केरल में अब तक पलाकाड़ और पाथनामठ जिले से लिए गए सैंपल में भी डेल्‍टा प्‍लस वैरिएंट के मिलने की पुष्टि सरकार की तरफ से की जा चुकी है। सरकार इसको लेकर इन जिलों में जरूरी उपाय भी कर रही है।

Delta Plus Variant के एमपी में 5 केस

मध्‍यप्रदेश में अब तक इसके पांच मामले सामने आ चुके हैं। राज्‍य के स्‍वास्‍थ्‍य मंत्री के मुताबिक इनमें से एक की मौत हो चुकी है जबकि अन्‍य चारों को वैक्‍सीन दी जा चकी है और वो स्‍वस्‍‍थ हैं। राज्‍य में इसका पहला मामला भोपाल में एक 65 वर्षीय महिला में मिला था। ये महिला अब कोविड-19 के संक्रमण से ठीक हो चुकी है।

Delta Plus Variant को तमिलनाडू में बच्चों के लिये खतरनाक बताया

तमिलनाडु सरकार के स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय की तरफ से जारी एक रिपोर्ट में कहा गया है कि राज्‍य में महामारी की दूसरी लहर के दौरान मामले बढ़ने की सबसे बड़ी वजह डेल्‍टा वैरिएंट रहा था। सरकार के आंकड़ों के मुताबिक दिसंबर 2020 से मई 2021 के बीच करीब 554 टेस्ट किए गए जिसमें से 386 में डेल्‍टा वैरिएंट की मौजूदगी का पता चला। कुछ लोगों में एल्‍फा वैरिएंट भी मिला है। जिन लोगों का टेस्‍ट किया गया था उनमें 12 वर्ष की आयु से कम उम्र वाले करीब 96 बच्‍चे शामिल थे जिनमें से 76 में इस वैरिएंट की मौजूदगी का पता चला।